छत्तीसगढ़

आरटीआई कार्यकर्ता अब्दुल सुल्तान की मेहनत लाई रंग, आदिवासी कृषक को वापस मिली उसकी जमीन, कांग्रेसी नेता समेत तीन पर दर्ज हो सकता है आपराधिक प्रकरण

कोरबा। आरटीआई कार्यकर्ता एवं भारतीय श्रमजीवी पत्रकार संघ के जिलाध्यक्ष अब्दुल सुल्तान ने आदिवासियों की जमीन को गलत तरीके से अपने नाम पर कर प्लॉट बेचने वाले हेमेंद्र पाल सिंह भुल्लर, कांग्रेस नेता राजन बरनवाल, दीपक लांबा और दिनेश रमानी के विरुद्ध माननीय कलेक्टर न्यायालय में शिकायत की थी।शहर के मध्य मे अमरैया पारा के मुख्य सड़क से सटी जमीन का यह पूरा मामला है।

जिसमें उक्त कांग्रेसी नेता राजन बरनवाल एवं अन्य के विरुद्ध मामला दर्ज किया गया था। समस्त जांच के बाद जिला केलेक्टर कलेक्टर न्यायालय ने आदेश पारित किया है ।शिकायतकर्ता की शिकायत सही पाई गई और उक्त आदिवासी को उसकी भूमि को 170( ख) के तहत वापस करने का आदेश दिया गया है।

मिली जानकारी के अनुसार मामले में संलिप्त कांग्रेसी नेता आपदा प्रबंधन मंत्री जयसिंह अग्रवाल के बेहद करीबी है।ऐसे मामलो में मंत्री के करीबी के शामिल होने से जाहिर तौर पर उनके भी छवि धूमिल होगी।

आपको बता दें कि कोरबा आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र है यहां आदिवासियों की जमीन छीनने की अनेकों अनेक मामले हैं पहले भी जमीन दलालों द्वारा आदिवासियों की भुमि को हथियाने का मामला सामने आ चुका है । जब कोरबा शहर का यह हाल है तो ग्रामीण क्षेत्रों की स्थिती कैसी होगी यह आप सोच सकते है।

आदिवासियों के हितों की रक्षा करने में छत्तीसगढ़ के भूपेश सरकार की भूमिका अग्रणी रही है। इसके साथ ही जिला कलेक्टर भी आदिवासियों के हितों के संरक्षण को लेकर हमेशा सजग रहते हैं ।यही कारण है कि एक बार एक आदिवासी को उसकी जमीन वापस मिलने का रास्ता साफ हो पाया है ।

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